दमोह – स्वास्थ्य विभाग ने रेटिंग निर्धारण करने से पहले प्रदेश के सभी सरकारी अस्पतालों का निरीक्षण करने के लिए कायाकल्प टीम का गठन किया है। जो टीम निरीक्षण रिपोर्ट तैयार करने के बाद सुविधाओं व व्यवस्थाओं के आधार पर अस्पतालों की ग्रेडिंग करने का काम करती हैं। सरकारी अस्पतालों में स्वास्थ्य सुविधाएं बेहतर बनाने, अच्छी साफ-सफाई व अन्य कई उद्देश्यों को लेकर शुरू की गई कायाकल्प योजना के तहत हुए निरीक्षण में दमोह जिले के पथरिया विकासखंड का प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र सदगुवां ने मध्यप्रदेश में बाजी मारी है। प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र सद्गुवां ने ‘कायाकल्प’ के अंतर्गत वर्ष 2019–20 में राज्य स्तर पर प्रथम स्थान प्राप्त किया।
बारीकी से होती है जांच
कायाकल्प योजना के तहत होन वाले निरीक्षण में परिसर की सफाई, शौचालयों का रख-रखाव, हॉस्पिटल का प्रबंधन, लेखा जोखा अभिलेख, दवा का स्टॉक, प्रसूताओं को मिलने वाली प्रोत्साहन राशि व अन्य सुविधाओं आदि की गहनता से जांच की जाती है। इसमें जांच अधिकारी चिकित्सालय की सफाई और अन्य व्यवस्थाओं पर नजर रखते हुए अंक देते हैं। कायाकल्प के तहत सैकड़ों बिंदुओं पर सुधार कार्य कर मरीज को अच्छा वातावरण, ओपीडी व अन्य जांच, दवा वितरण में कम समय, बिल्डिंग का रखरखाव, संक्रमण नियंत्रण, सहायक सेवाएं, अपशिष्ट निष्पादन, मूलभूत सुविधाएं, अच्छा पेयजल, बैठक व्यवस्था, संसाधन उपलब्धता आदि सुनिश्चित किया जाना। इंफेक्शन कंट्रोल, व प्रोटोकॉल पालन कायाकल्प पैमाने द्वारा किया जाना आदि शामिल है।
सरकारी अस्पताल में प्राइवेट जैसी सुविधाएं
प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र सदगुवां में निजी चिकित्सालय का एहसास दिलाने वाले एसी केबिन तो जिला मुख्यालय पर भी दिखाई नहीं देते। इसके अलावा चिकित्सालय परिसर में हुई बागवानी और सभी के सहयोग से हो रहे कार्यों की प्रशंसा हॉस्पिटल जाने वाला हर व्यक्ति करता है। लोगों का कहना है कि स्वास्थ्य विभाग के परिसर में इस तरह के हरे-भरे पेड़ पौधे देखकर सकारातमक बनी रहती है। स्वास्थ्य केंद्र में पदस्थ डॉक्टर पुष्पेंद्र त्रिपाठी का कहना है कि सीएमएचओ और सीबीएमओ के निर्देश के अनुसार किए कार्य की बदौलत ही यह संभव हो सका है।
2015 में शुरू हुई थी योजना
स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की कायाकल्प पहल 2015 में सभी राज्यों और केन्द्रशासित प्रदेशों में केन्द्र सरकार के संस्थानों और सार्वजनिक स्वास्थ्य संस्थानों में बुनियादी ढांचे में सुधार, स्वच्छता व स्वास्थ्यकारिता और संक्रमण नियंत्रण कार्यों में सुधार लाने के उद्देश्य से शुरू की गई थी।